
यूँ तो हिंदी में पार्श्वगायन करने वाले सभी गायकों ने कई अलग- अलग भाषाओं में गायन किया है पर हिंदी के बाद अगर किसी भाषा में उनका भाषाई अपनत्व दिखा है तो वह है भोजपुरी ,और हो भी क्यों न ,भोजपुरी की सौंधी खूशबू उन्हें अपनी तरफ आकर्षित किये बिना नहीं रहती. तभी तो भोजपुरी में गायन कर इन्होने भोजपुरी की शान बढ़ाई है .
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